Jammu and Kashmir: आतंकी गठजोड़ में शामिल 3 कर्मचारियों को किया बर्खास्त

0
123

श्रीनगर: Jammu and Kashmir सरकारी नौकरियों में रहकर कश्मीर घाटी में आतंकवाद को फैलाने में मदद कर रहे कर्मचारियों के खिलाफ जम्मू कश्मीर सरकार द्वारा छे़ड़ा गया अभियान काफी सफल साबित हो रहा है। धीरे-धीरे परते खुल रही हैं और समाज केे बीच शरीफों की जिंदगी व्यतीत करते हुए कश्मीर में खूनी खेल कर रहे इन राष्ट्र विरोधी तत्वों का पर्दाफाश हो रहा है। अपने इस अभियान को जारी रखते हुए जम्मू-कश्मीर सरकार ने कश्मीर घाटी में तीन सरकारी कर्मचारियों को आतंकवादी संगठनों से संबंध साबित होने पर नौकरी से बर्खास्त कर दिया है।

Congress Chintan Shivir: कांग्रेस का तीन दिवसीय चिंतन शिविर, जानें किन मुद्दों पर होगी चर्चा

आपको यह जानकारी हैरानगी होगी कि जिन लोगों के खिलाफ ये कार्रवाई की गई है, उनमें दो युवाओं के जीवन को दिशा देने वाले जबकि एक आम जनता में सुरक्षा की भावना को कायम रखने वाला है। नौकरी से बर्खास्त किए गए कर्मचारियों में कश्मीर यूनवर्सिटी में कैमेस्ट्री के प्रोफेसर अल्ताफ हुसैन पंडित हैं, स्कूली शिक्षा विभाग में शिक्षक मोहम्मद मकबूल हाजम और जम्मू-कश्मीर पुलिस में कांस्टेबल गुलाम रसूल शामिल हैं।

दहशतगर्दों के करीबी पाए गए बर्खास्त किए गए कर्मी

इससे पहले 31 मार्च को उप राज्यपाल प्रशासन ने दो पुलिस कांस्टेबल, शिक्षक समेत और पांच सरकारी मुलाजिमों को बर्खास्त कर दिया था। आतंकियों और अलगाववादियों से गठजोड़ रखने वाले ये कर्मचारी जांच पड़ताल में न सिर्फ दहशतगर्दों के करीबी पाए गए, बल्कि आतंकी वारदातों को अंजाम देने से लेकर युवाओं को आतंक की राह पर धकेलने जैसी गतिविधियों में शामिल हैं। बर्खास्त किए गए कर्मचारियों में पुलिस विभाग में कांस्टेबल तौसीफ मीर, कांस्टेबल शाहिद हुसैन राथर, शिक्षक अरशद अहमद, कंप्यूटर ऑपरेटर गुलाम पर्रे और अर्दली शराफत अली खान शामिल हैं।

Jammu and Kashmir: सलाहुद्दीन के दो बेटों समेत 11 कर्मचारियों को भी हटाया

संदिग्ध गतिविधियों में शामिल कर्मचारियों के चाल चलन की समीक्षा करने वाली कमेटी की सिफारिश पर उप राज्यपाल मनोज सिन्हा ने संविधान के अनुच्छेद 311 (2)(सी) के तहत इन्हें बर्खास्त करने का आदेश जारी किया। दस जुलाई 2021 को अंतरराष्ट्रीय आतंकी सैयद सलाहुद्दीन के दो बेटों समेत 11 कर्मचारियों को नौकरी से बर्खास्त कर दिया गया था। सभी कर्मचारी टेरर फंडिंग, अलगाववाद और आतंकियों को पनाह देने जैसी देशद्रोही गतिविधियों में संलिप्त पाए गए थे।

सबसे ज्यादा अनंतनाग के कर्मचारी बर्खास्त

सूत्रों ने बताया कि बर्खास्त होने वालों में अनंतनाग के दो सरकारी शिक्षक हैं जो देश विरोधी गतिविधियों में लिप्त रहे हैं। आतंकियों से भी उनका संबंध रहा है। दो पुलिसकर्मियों पर आतंकियों तक विभाग की गोपनीय सूचनाएं पहुंचाने के मामले में कार्रवाई की गई है।

NEET PG 2022: HC में नीट पीजी परीक्षा टालने की मांग वाली याचिका खारिज

Leave a Reply